हाथरस दुष्‍कर्म केस / ‘पीड़िता का रेप नहीं हुआ लेकिन प्राइवेट पार्ट को पहुंचा नुकसान, हार्ट अटैक से गई जान’, फॉरेंसिक रिपोर्ट में इन बातों का हुआ खुलासा

By: Pinki Fri, 02 Oct 2020 10:42:04

हाथरस दुष्‍कर्म केस /  ‘पीड़िता का रेप नहीं हुआ लेकिन प्राइवेट पार्ट को पहुंचा नुकसान, हार्ट अटैक से गई जान’, फॉरेंसिक रिपोर्ट में इन बातों का हुआ खुलासा

उत्तर प्रदेश हाथरस कांड को लेकर गुरुवार को बड़ा सियासी ड्रामा देखने को मिला था। कांग्रेस नेता राहुल गांधी और प्रियंका गांधी वाड्रा की अगुवाई में हजारों कांग्रेस कार्यकर्ता हाथरस के लिए रवाना हुए, लेकिन ग्रेटर नोएडा से आगे नहीं बढ़ सके। उन्हें वहीं पर हिरासत में ले लिया गया, लेकिन बाद में छोड़ दिया गया। हाथरस गैंगरेप पीड़िता को इंसाफ दिलाने के लिए पूरा देश एक बार फिर सड़कों पर उतरा है। देश के अलग-अलग हिस्सों में प्रदर्शन हो रहे हैं और दोषियों को कड़ी से कड़ी सज़ा देने की मांग की जा रही है।

इस बीच पीड़िता की पोस्टमार्टम-फॉरेंसिक रिपोर्ट कुछ अलग ही दावा कर रही हैं। दलित युवती की फॉरेंसिक रिपोर्ट में कहा गया है कि पीड़िता का रेप नहीं हुआ था, बल्कि उसकी मौत भी हार्ट अटैक से हुई थी। उत्तर प्रदेश के अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक प्रशांत कुमार का दावा है कि पीड़िता के शरीर में कोई स्पर्म भी नहीं मिला है, जो रेप की पुष्टि करता हो। उन्होंने कहा कि फॉरेंसिक रिपोर्ट से सिद्ध होता है कि पीड़िता का रेप नहीं हुआ था, ऐसे में अब आगे की जांच जारी है।

हालांकि, इन रिपोर्ट्स से इतर जो बात पोस्टमार्टम में सामने आई थीं, उन्होंने स्पष्ट किया था कि पीड़िता के साथ काफी दरिंदगी हुई है और यही कारण है कि शरीर पर अलग-अलग जगह चोट के निशान हैं।

दीनदयाल उपाध्याय अस्पताल के फॉरेंसिक हेड बीएन। मिश्रा ने पोस्टमार्टम रिपोर्ट को परखा। उन्होंने बताया कि रिपोर्ट में यौन उत्पीड़न का जिक्र नहीं है, लेकिन पीड़िता के प्राइवेट पार्ट को नुकसान हुआ था। रिपोर्ट में दावा किया गया है कि हड्डी टूटने, शरीर में इन्फेक्शन होने के कारण पीड़िता की मौत हो गई।

पोस्टमार्टम रिपोर्ट में इन बातों का जिक्र...


- पीड़िता के शरीर पर जो चोट के निशान थे, उन्होंने सड़ना शुरू कर दिया था। ये इन्फेक्शन का परिणाम है जो कि किसी की जान भी ले सकता है।

- पीड़िता की गर्दन पर चोट का निशान था, ऐसे में पीड़िता के गले को दबाने की कई बार कोशिश की गई थी।

- पीड़िता के मरने से पहले ही उसकी गर्दन की हड्डी टूट चुकी थी। पीड़िता की शरीर की कुछ हड्डियां पूरी तरह टूट चुकी थीं और कुछ ने काम करना बंद किया था।

- पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद पीड़िता के विसरा को प्रिजर्व किया गया था, ताकि मौत के कारणों का पता लग सके। बाद में सिद्ध हुआ कि मौत हार्ट अटैक से हुई थी।

आपको बता दें कि पीड़िता के साथ 14 सितंबर को गैंगरेप हुआ था, जिसके बाद उसे हाथरस से सीधे अलीगढ़ के अस्पताल ले जाया गया। लेकिन वहां जब हालात नहीं बदले तो दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में शिफ्ट किया गया, जहां एक दिन तक भर्ती रहने के बाद पीड़िता ने दम तोड़ दिया। इसके बाद यूपी पुलिस ने जबरन शव को हाथरस ले जाकर अंतिम संस्कार कर दिया, इस दौरान ना पीड़िता का परिवार मौजूद रहा और ना ही उनसे इजाजत ली गई।

बता दे, उत्तर प्रदेश हाथरस कांड के बाद सियासत गरमा गई है। विपश लगातार योगी सरकार और केंद्र सरकार पर हमला बोल रही है। कांग्रेस सांसद राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने महात्मा गांधी की जयंती (Gandhi Jayanti) पर ट्वीट के जरिए केंद्र सरकार पर निशाना साधा है। राहुल ने कहा- ‘मैं दुनिया में किसी से नहीं डरूंगा। अन्याय के सामने नहीं झुकूंगा।' राहुल ने ट्विटर पर लिखा- ‘मैं दुनिया में किसी से नहीं डरूंगा... मैं किसी के अन्याय के समक्ष झुकूं नहीं, मैं असत्य को सत्य से जीतूं और असत्य का विरोध करते हुए मैं सभी कष्टों को सह सकूं।’ गांधी जयंती की शुभकामनाएं। #GandhiJayanti

यूपी पुलिस ने राहुल गांधी और प्रियंका गांधी समेत कांग्रेस के 203 नेताओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। एफआईआर में इन लोगों के खिलाफ कई संगीन धाराएं लगाई गई हैं। मुकदमा गौतमबुद्ध नगर पुलिस की ओर से ही दर्ज किया गया है। मुकदमा धारा 144 का उल्लंघन करने तथा महामारी के दौरान आम लोगों का जीवन संकट में डालने के आरोप में आईपीसी की धारा 188, और धारा 269, 270 के तहत दर्ज कराया गया है।

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